भारतीय सर्वोच्च न्यायालय ने जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने को बरकरार रखा
Article 370: जम्मू और कश्मीर एक केंद्र शासित प्रदेश, सर्वोच्च न्यायालय का फैसला, supreme court decision,भारतीय सर्वोच्च न्यायालय ने 10 दिसंबर, 2023 को जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने के केंद्र सरकार के फैसले को बरकरार रखा। इस फैसले ने जम्मू और कश्मीर को एक केंद्र शासित प्रदेश बना दिया, जिससे राज्य को भारत के संविधान के सभी प्रावधानों के अधीन कर दिया गया।
भारतीय संविधान के Article 370
भारतीय संविधान के Article 370 जम्मू और कश्मीर को विशेष दर्जा प्रदान करता था। इस अनुच्छेद के तहत, जम्मू और कश्मीर को भारत के संविधान के कुछ प्रावधानों से छूट दी गई थी। इन छूटों में शामिल थे:
- जम्मू और कश्मीर को अपना संविधान बनाने का अधिकार था।
- जम्मू और कश्मीर के लोगों को नागरिकता प्राप्त करने के लिए भारत के संविधान के अनुच्छेद 19 के तहत दिए गए अधिकारों से छूट दी गई थी।
- जम्मू और कश्मीर के बाहरी लोगों को राज्य में भूमि खरीदने से रोक दिया गया था।

केंद्र सरकार का फैसला
2019 में, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार ने जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने का फैसला किया। इस फैसले के पीछे सरकार का तर्क था कि यह कदम क्षेत्र में शांति और स्थिरता लाने में मदद करेगा।
सर्वोच्च न्यायालय का फैसला
सर्वोच्च न्यायालय ने 10 दिसंबर, 2023 को जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने के केंद्र सरकार के फैसले को बरकरार रखा। न्यायालय ने अपने फैसले में कहा कि Article 370 को निरस्त करना भारत के संविधान के अनुरूप है।
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निर्णय के परिणाम
जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने के केंद्र सरकार के फैसले के कई परिणाम हुए हैं। इन परिणामों में शामिल हैं:
- जम्मू और कश्मीर को एक केंद्र शासित प्रदेश बना दिया गया है।
- जम्मू और कश्मीर के लोगों को भारत के संविधान के सभी प्रावधानों के अधीन कर दिया गया है।
- जम्मू और कश्मीर में नागरिकता प्राप्त करने के लिए भारत के संविधान के अनुच्छेद 19 के तहत दिए गए अधिकारों को लागू किया गया है।
- जम्मू और कश्मीर के बाहरी लोगों को राज्य में भूमि खरीदने की अनुमति दी गई है।
निर्णय की प्रतिक्रिया
जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने के केंद्र सरकार के फैसले को लेकर अलग-अलग प्रतिक्रियाएं आई हैं। कुछ लोगों ने इस फैसले का स्वागत किया है, जबकि अन्य ने इस फैसले का विरोध किया है।
स्वागत
जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने के फैसले का स्वागत करने वाले लोगों का तर्क है कि यह कदम क्षेत्र में शांति और स्थिरता लाने में मदद करेगा। उनका कहना है कि Article 370 के कारण क्षेत्र में अलगाववादी गतिविधियां बढ़ गई थीं।
विरोध
जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने के फैसले का विरोध करने वाले लोगों का तर्क है कि यह कदम क्षेत्र की स्वायत्तता को छीन लेता है। उनका कहना है कि यह कदम क्षेत्र में तनाव और अशांति को बढ़ावा देगा।
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निष्कर्ष
जम्मू और कश्मीर के विशेष दर्जे को समाप्त करने का फैसला एक महत्वपूर्ण घटना है जिसने क्षेत्र के इतिहास को बदल दिया है। इस फैसले के दीर्घकालिक परिणाम अभी भी स्पष्ट नहीं हैं, लेकिन यह संभावना है कि यह क्षेत्र के राजनीतिक और सामाजिक परिदृश्य को प्रभावित करेगा।
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