Ram Mandir : राम मंदिर (Ram Mandir) में भगवान राम की मूर्ति लग चुकी है।
ऐसे में मानस कथावाचक मोरारी बापू ने राम मंदिर (Ram Mandir) निर्माण में सबसे बड़े दानदाता के रूप में आगे आए हैं। मिली जानकारी के अनुसार मोरारी बापू ने राम मंदिर (Ram Mandir) निर्माण के लिए करीब 18.6 करोड़ रुपए की राशि दान की थी। रामायण के सबसे सरस कथावाचकों में मोरारी बापू के नाम अग्रिम पंक्ति में आता है।
करीब 6 दशक से भी ज्यादा से मोरारी बापू रामायण की कथा कह रहे हैं। वहीं राम चरित्र और राम नाम का प्रसार भारत ही नहीं पूरी दुनिया में कर रहे हैं। मोरारी बापू को कथा मर्मज्ञ भी कहा जाता है। राम कथा और राम चरित्र को मोरारी बापू जितनी आसान भाषा में बताते हैं, यहीं कारण है कि आम जनमानस उनसे आसानी से जुड़ जाता है।
मोरारी बापू के अनुसार, हमने कोरोना काल में अपने भक्तों से मात्र 15 दिनों में लगभग 11.3 करोड़ रुपए जुटाकर राम जन्मभूमि ट्रस्ट को पहले ही सौंप दिए थे। इसके अतिरिक्त इस सहायता राशि में ब्रिटेन और यूरोप से 3.21 करोड़ और अमेरिका, कनाडा और कई अन्य देशों से 4.10 करोड़ का योगदान है। मोरारी बापू द्वारा दान की गई राशि अब मंदिर निर्माण में उपयोग की जा रही है।
राम मंदिर (Ram Mandir) के उपलक्ष्य में 24 फरवरी से राम कथा का आयोजन
इसी कड़ी में बताते चलें कि कल अयोध्या में राम मंदिर में भगवान राम की काले रंग से बनी हुई मूर्ति का अनावरण किया गया। जिसका पूरे देश के लोगों ने दर्शन किया और सभी राम भक्तों में एक नए उत्साह को देखा जा रहा है। जानकारी के लिए बता दें कि इस वक्त अयोध्या में सभी प्रमुख बड़े राम कथा वाचकों की कथाएं अयोध्या में आयोजित की जा रही हैं।

इसी कड़ी में 24 फरवरी को मुरारी बापू की कथा का भी आयोजन किया जाना है। मुरारी बापू राम चरित्र को बताने वाले सरस कथावाचकों में से एक कथा वाचक है। अयोध्या में मुरारी बापू की राम कथा 24 फरवरी से शुरू होकर 3 मार्च तक चलेगी। इसी बीच मुरारी बापू को 22 जनवरी को हो रही प्राण प्रतिष्ठा में भी आमंत्रित किया गया है।

ऐसे में मोरारी बापू के मुख से भगवान राम के चरित्र का बखान सुनना एक अलग ही अनुभव होगा। मोरारी बापू को अयोध्या में रामकथा कहने का आमंत्रण खुद राम मंदिर ट्रस्ट ने दिया है। मोरारी बापू ने अयोध्या के नए राम मंदिर में तीन पवित्र ग्रंथों वेद, वाल्मीकि रामायण और गोस्वामी तुलसीदास के रामचरित मानस को नए सिरे से स्थापित करने की इच्छा जताई है। उन्होंने कहा कि मुझे लगता है कि वेद भगवान, वाल्मीकि की रामायण और गोस्वामी तुलसीदास की राम चरित मानस को अयोध्या में राम मंदिर में रखा जाना चाहिए।

इस बाबत मुरारी बापू से राम मंदिर के उद्घाटन के बारे में पूछे जाने पर मुरारी बापू ने जवाब दिया कि- पिछले 64 सालों से मैं राम कथा कह रहा हूं। ऐसे में मुझे बहुत खुशी है कि अयोध्या में राम मंदिर बन गया। राम अपनी जगह, अपनी जन्म भूमि पर विराज रहे हैं। इससे बड़ी खुशी की बात क्या होगी। इस वक्त मेरी रगों में खून नहीं उत्साह दौड़ रहा है। क्योंकि राम मंदिर बन गया है उन्होंने कहा कि भगवान राम किसी एक संप्रदाय या देश की नहीं है वह तो पूरी दुनिया के हैं और पूरे सृष्टि के संचालक भगवान राम है।
इसी कड़ी में बताते चलें कि मुरारी बापू देश ही नहीं विदेश में भी अपनी राम कथाओं के कारण चर्चित हैं। और कथा कहते कहते स्वयं भावुक हो जाने वाली मुरारी बापू कथाओं को भाव कर जाते हैं। और रामचरित उनके मुख से सुना हर किसी की इच्छा होती है।

Rajesh Mishra
राजेश मिश्रा
आप उत्तर प्रदेश के वाराणसी के रहने वाले हैं। आपने राजकीय पॉलीटेक्निक, लखनऊ से पत्रकारिता की पढ़ाई की है। आप ऐतिहासिक जगहों पर घूमना और उनके बारे में जानने और लिखने का शौक रखते हैं।
आप THE HIND MANCH में लेखक के रूप में जुड़े हैं।