नीतीश कुमार बिहार की राजनीति का केंद्रबिंदु बन चुके हैं।
वर्ष 2000 से लेकर अब तक बिहार में 5 विधानसभा चुनाव हुए हैं। जिनमें सभी में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ही है। यह बिहार की जनता के लिए भी एक चुनौती ही है कि वो चुनाव में वोट किसे भी दें लेकिन, सीएम का फेस नीतीश कुमार ही होते हैं। नीतीश कुमार को अलग ही राजनीति के लिए जाना जाता है। जेपी आंदोलन से निकले नीतीश बाबू ने राजनीति बिहार के जन नायक कहे जाने वाले कर्पूरी ठाकुर से सीखी।
नीतीश कुमार का जन्म बिहार के नालंदा जिले के कल्याण बीघहा में 1 मार्च 1951 को जन्म हुआ था। नीतीश कुमार के पिता का नाम कविराज राम लखन था। जो पेशे से एक आयुर्वेदिक वैद्य थे। नीतीश कुमार ने बिहार कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग (NIT पटना) से विद्युत इंजीनियरिंग में पढ़ाई की। नीतीश कुमार ने शुरू-शुरू में बिहार राज्य बिजली बोर्ड में नौकरी की।

लेकिन, उनका मन नौकरी में नहीं लगा। इसके बाद उन्होंने राजनीति में अपना भविष्य देखा। वर्ष 1973 में नीतीश का विवाह मंजू कुमारी सिन्हा से हुआ था। मंजू कुमारी पटना में एक स्कूल में अध्यापिका थीं। नीतीश और मंजू की एक संतान बेटा है। जिसका नाम निशांत है। नीतीश की पत्नी का वर्ष 2007 में निधन हो गया।
नीतीश कुमार का राजनीतिक जीवन
नीतीश कुमार पहली बार बिहार विधानसभा के लिए 1985 में चुने गये थे। 1987 में वे युवा लोकदल के अध्यक्ष बने। 1989 में उन्हें बिहार में जनता दल का सचिव चुना गया और उसी वर्ष नीतीश कुमार नौंवी लोकसभा के सदस्य भी चुने गए थे। 1990 में वे पहली बार केन्द्रीय मंत्रीमंडल में बतौर कृषि राज्यमंत्री शामिल हुए।
1991 में वे एक बार फिर लोकसभा के लिए चुने गए और उन्हें इस बार जनता दल का राष्ट्रीय सचिव चुना गया। नीतीश कुमार संसद में जनता दल के उपनेता भी बने। 1989 और 2000 में उन्होंने बाढ़ लोकसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया। 1998-1999 में कुछ समय के लिए नीतीश कुमार केंद्रीय रेल एवं भूतल परिवहन मंत्री भी रहे।

वर्ष 2000 में नीतीश कुमार बिहार के मुख्यमंत्री बने। लेकिन उन्हें सिर्फ सात दिनों में त्यागपत्र देना पड़ा। नवंबर 2005, में राष्ट्रीय जनता दल की बिहार में पंद्रह साल पुरानी सत्ता को उखाड़ फेंकने में सफल हुए और मुख्यमंत्री के रूप में उनकी ताजपोशी हुई। वर्ष 2010 के बिहार विधानसभा चुनावों में अपनी सरकार द्वारा किये गये विकास कार्यों के आधार पर वे भारी बहुमत से अपने गठबंधन को जीत दिलाने में सफल रहे, और नीतीश कुमार दोबारा मुख्यमंत्री बने।

2014 में उन्होनें अपनी पार्टी की संसदीय चुनाव में खराब प्रदर्शन के कारण मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया। जीतन राम मांझी को मुख्यमंत्री बनाया उनकी मनसा थी कि जीतन राम मांझी उनके निर्देश पर हर एक काम करें परंतु जीतन राम मांझी अपने तरीके से सरकार चलाने लगे इसके बाद उन्होंने राष्ट्रीय जनता दल के साथ मिलकर जीतन राम मांझी को मुख्यमंत्री के पद से हटाया।
2015 में महागठबंधन बनाया जिसमें मुख्य रूप से राष्ट्रीय जनता दल और कांग्रेस के साथ मिलकर बिहार में पूर्ण बहुमत की सरकार बनाई ।2017 में महागठबंधन छोड़कर भाजपा के साथ चले गए और पुनः सरकार का गठन किया जिसमें मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बने रहे। 2019 का लोकसभा चुनाव और 2020 का विधानसभा चुनाव भाजपा के साथ मिलकर नीतीश कुमार लड़े और लगातार मुख्यमंत्री बने रहे ,परंतु 2022 में नीतीश कुमार पलटी मारते हुए राष्ट्रीय जनता दल के साथ जाकर सरकार बना लिया और मुख्यमंत्री बने रहे, आज के राजनीतिक हलचल के अनुसार यह तय माना जा रहा है कि 2024 में एक बार फिर नीतीश कुमार भारतीय जनता पार्टी के साथ मिलकर सरकार बनाने जा रहे हैं।
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Rajesh Mishra
राजेश मिश्रा
आप उत्तर प्रदेश के वाराणसी के रहने वाले हैं। आपने राजकीय पॉलीटेक्निक, लखनऊ से पत्रकारिता की पढ़ाई की है। आप ऐतिहासिक जगहों पर घूमना और उनके बारे में जानने और लिखने का शौक रखते हैं।
आप THE HIND MANCH में लेखक के रूप में जुड़े हैं।